Next Story
Newszop

एफएसएल जांच में तेजी लाने के हो रहे प्रयास, लंबित मामले में भी आई कमी-सीएस

Send Push
image

जयपुर। प्रदेश की विधि विज्ञान प्रयोगशालाओं में संसाधनों की कमी से जुडे मामले में अदालती आदेश की पालना में मुख्य सचिव सुधांश पंत और एफएसएल निदेशक हाईकोर्ट में पेश हुए।

मुख्य सचिव की ओर से अतिरिक्त महाधिवक्ता भरत व्यास ने जस्टिस उमाशंकर व्यास की अदालत में बताया कि एफएसएल में लंबित मामलों में कमी लाने व स्थिति में सुधार के लिए प्रयास किए जा रहे हैं। एफएसएल जांच में देरी का केसों पर प्रतिकूल प्रभाव पडता है, ऐसे में स्थिति में सुधार लाया जाएगा। मुख्य सचिव ने कहा कि अब तक लंबित मामलों में करीब साढ़े बारह प्रतिशत कमी लाई जा चुकी है। इस पर अदालत ने संतोष जाहिर करते हुए याचिका को निस्तारित कर दिया।

दरअसल पॉक्सो से जुडे मामले में आरोपित ने हाईकोर्ट में जमानत याचिका दायर की थी। सुनवाई के दौरान अदालत के सामने आया था कि ट्रायल कोर्ट के कई प्रयास करने के बावजूद भी एफएसएल रिपोर्ट नहीं आई है। इसके लिए ट्रायल कोर्ट ने भी हाईकोर्ट से प्रकरण के निस्तारण के लिए अतिरिक्त समय देने का गुहार की है। इस पर अदालत ने मुख्य सचिव और एफएसएल निदेशक को तलब करते हुए कहा था कि एफएसएल रिपोर्ट नहीं आने से केस की ट्रायल पूरी नहीं होती और आरोपित को भी अनावश्यक तौर पर अभिरक्षा में रहना पडता है। यह आरोपित के जल्द ट्रायल के अधिकार का भी हनन है। अदालत ने यह भी चिंता जताई थी कि मामले में डीजीपी और एसीएस गृह को बुलाने के बावजूद भी हालात नहीं बदले हैं।

Loving Newspoint? Download the app now