पाली में किसानों ने गुरुवार को कलेक्ट्रेट पहुंचकर धरना दिया। किसान संघर्ष समिति की ओर से बड़ी संख्या में किसान कलेक्ट्रेट पहुंचे और धरना दिया। किसानों ने बताया कि राजस्व गांव चक नंबर 1 बेवता क्षेत्र में राजस्व कर्मचारियों ने नहर किस्म की कृषि भूमि व द्वितीय भूमि के बीच 40 गुणा 30 फीट चौड़ा रास्ता बना दिया था, जो राजस्व रिकॉर्ड में नहीं था, लेकिन भू-माफियाओं के दबाव में रास्ता दे दिया गया। धरने पर बैठे लोगों को कई किसान नेताओं ने संबोधित किया।
क्या कहा किसान नेताओं ने?
किसान नेता गिरधारी सिंह मंडली ने कहा- पाली जिले के राजस्व गांव चक नंबर 1 बेवता क्षेत्र में नहर किस्म की कृषि भूमि व द्वितीय भूमि के बीच राजस्व रिकॉर्ड में कोई रास्ता नहीं था। न ही मौके पर ऐसा कोई रास्ता था। बेवता क्षेत्र की कृषि भूमि हेमावास बांध की नहर कमांड भूमि है।
ऐसे में कुछ राजस्व कर्मचारियों ने भूमाफियाओं के दबाव में आकर इन खेतों में सिंचाई नहर (नाला/नहर) की जमीन पर रास्ता दे दिया। यह सत्ता का दुरुपयोग है। बिना किसी तथ्य व भौतिक स्थिति की जांच किए सिंचाई विभाग से अनापत्ति प्रमाण पत्र (एनओसी) लिए आवासीय नक्शा जारी कर दिया गया। मामले में निष्पक्ष कार्रवाई व दोषी अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग को लेकर जिला कलेक्टर लक्ष्मीनारायण मंत्री को ज्ञापन सौंपा गया।
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