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सिर्फ 100 द्वीप ही नहीं बाँसवाड़ा में ये लोकेशंस भी है टूरिस्ट की फेवरेट, वीडियो में जाने यहां घूमने का सही समय और किराया

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जब बात रोमांटिक ट्रैवल की हो, तो ज़हन में सबसे पहले मालदीव, गोवा या केरल का नाम आता है। लेकिन अगर हम कहें कि राजस्थान जैसे शुष्क और रेगिस्तानी राज्य में भी एक ऐसा शहर है जो "भारत का मालदीव" कहलाने लगा है, तो शायद आपको यकीन न हो। हम बात कर रहे हैं बाँसवाड़ा की – एक छोटा सा जिला जो अपने '100 द्वीपों' के लिए देशभर में प्रसिद्ध होता जा रहा है।


राजस्थान के दक्षिणी हिस्से में स्थित बाँसवाड़ा को ‘सिटी ऑफ हंड्रेड आइलैंड्स’ भी कहा जाता है। ये आइलैंड्स मुख्यतः माही नदी और उसके जलाशयों में फैले हुए हैं। बारिश के मौसम में या माही डैम में पानी भर जाने पर ये द्वीप दृश्य रूप से उभर आते हैं, जो इस क्षेत्र को एक मालदीव-जैसा लुक देते हैं। यही कारण है कि अब कपल्स और हनीमून प्लानर्स के बीच बाँसवाड़ा एक नया ट्रेंड बनता जा रहा है।लेकिन बाँसवाड़ा सिर्फ इन आइलैंड्स तक ही सीमित नहीं है। यहाँ कई ऐसे दर्शनीय स्थल हैं जो प्रकृति, इतिहास, और संस्कृति में रुचि रखने वाले हर यात्री को लुभाते हैं। आइए जानते हैं बाँसवाड़ा के अन्य प्रमुख पर्यटन स्थलों के बारे में:

1. कागदी पिकनिक स्पॉट (Kagdi Pickup Weir)
माही बांध परियोजना के अंतर्गत बना यह स्थल बाँसवाड़ा शहर से कुछ किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। यहाँ का शांत वातावरण, हरा-भरा पार्क और बहते झरने इसे एक परफेक्ट फैमिली व कपल डेस्टिनेशन बनाते हैं। मानसून के दौरान यहाँ की सुंदरता देखते ही बनती है।

2. माही डैम (Mahi Bajaj Sagar Dam)
यह बाँसवाड़ा जिले का सबसे बड़ा और महत्वपूर्ण जलाशय है। माही नदी पर बना यह डैम न केवल बिजली उत्पादन और सिंचाई का स्रोत है, बल्कि इसकी खूबसूरती भी पर्यटकों को आकर्षित करती है। डैम के चारों ओर फैले द्वीप इसे एक अद्वितीय दृश्य प्रदान करते हैं।

3. त्रिपुरा सुंदरी मंदिर
यह एक प्राचीन और अत्यंत पवित्र मंदिर है, जो देवी त्रिपुरा सुंदरी को समर्पित है। यह बाँसवाड़ा के प्रमुख धार्मिक स्थलों में से एक है और नवरात्रि के समय यहाँ विशेष भीड़ देखी जाती है। मंदिर का स्थापत्य और ऊर्जा दोनों ही भक्तों को मंत्रमुग्ध कर देते हैं।

4. अरथूना मंदिर समूह
इतिहास में रुचि रखने वालों के लिए बाँसवाड़ा का अरथूना मंदिर समूह किसी खजाने से कम नहीं है। ये मंदिर 11वीं-12वीं शताब्दी में बनवाए गए थे और इनकी वास्तुकला में गुर्जर-प्रतिहार शैली की झलक मिलती है। शांत जंगलों के बीच स्थित ये मंदिर आज भी अपनी कहानी खुद बयां करते हैं।

5. आनंद सागर झील (Anand Sagar Lake)
यह झील बाँसवाड़ा शहर के भीतर ही स्थित है और इसका निर्माण राजपरिवार द्वारा करवाया गया था। झील के किनारे बने छतरियाँ, बगीचे और मंदिर इसे एक रमणीय स्थल बनाते हैं, जहाँ आप शांत समय बिता सकते हैं।

6. सिंगपुर किला (Singpura Fort)
बाँसवाड़ा के सुदूर क्षेत्र में स्थित यह किला अब खंडहर बन चुका है, लेकिन आज भी इतिहास प्रेमियों और एडवेंचर ट्रैवलर्स को अपनी ओर खींचता है। ऊँचाई पर स्थित होने के कारण यहाँ से आसपास के इलाके का विहंगम दृश्य देखा जा सकता है।

7. दानपुर
प्राकृतिक और सांस्कृतिक दृष्टि से समृद्ध यह गांव अपने प्राचीन शिव मंदिर और सुंदर झीलों के लिए जाना जाता है। यहाँ के शांत वातावरण में आकर कोई भी आत्मिक सुकून पा सकता है।

बाँसवाड़ा क्यों है कपल्स के लिए परफेक्ट?
बाँसवाड़ा की शांत झीलें, हरे-भरे जंगल, सौंदर्य से भरपूर द्वीप और ऐतिहासिक स्थल – ये सब मिलकर इसे एक आदर्श कपल्स डेस्टिनेशन बनाते हैं। यहाँ न भीड़भाड़ है, न महंगे होटल्स, और न ही शोरगुल।अगर आप अपने पार्टनर के साथ सुकून और रोमांस से भरी छुट्टी बिताना चाहते हैं, तो बाँसवाड़ा आपके लिए बेस्ट है। यहाँ का लोकल खाना, सादगी, और ग्रामीण संस्कृति आपको एक अलग ही अनुभव प्रदान करेंगे।

कैसे पहुँचे बाँसवाड़ा?
निकटतम रेलवे स्टेशन: रतलाम (MP) या उदयपुर
निकटतम एयरपोर्ट: उदयपुर (करीब 165 किमी)
सड़क मार्ग: उदयपुर, डूंगरपुर, रतलाम और मध्यप्रदेश से सीधी बस व टैक्सी सुविधा उपलब्ध है।

राजस्थान का बाँसवाड़ा अब केवल एक आदिवासी बहुल जिला नहीं, बल्कि एक उभरता हुआ टूरिज्म स्पॉट बन चुका है। यहाँ के 100 आइलैंड्स, धार्मिक स्थल, ऐतिहासिक किले और प्राकृतिक सुंदरता मिलकर इसे एक ऐसा गंतव्य बना देते हैं जहाँ हर उम्र और रुचि का सैलानी कुछ न कुछ पा सकता है।तो अगली बार जब आप हनीमून या कपल ट्रिप की प्लानिंग करें, तो विदेशी लोकेशन की जगह बाँसवाड़ा जैसे देसी ‘मालदीव’ को एक मौका जरूर दें।

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