चंडीगढ़, 15 अक्टूबर . Haryana के वरिष्ठ आईपीएस अधिकारी वाई पूरन कुमार का अंतिम संस्कार Wednesday को किया गया. दोपहर 3 बजे उनकी अंतिम यात्रा सेक्टर-24 स्थित आवास से शुरू हुई और लगभग 4 बजे सेक्टर-25 के श्मशान घाट पहुंची.
वहां Police टुकड़ी ने सलामी दी, और बड़ी संख्या में उपस्थित Police, प्रशासन और Governmentी प्रतिनिधियों ने श्रद्धांजलि अर्पित की. इसके बाद उनकी दोनों बेटियों ने मुखाग्नि दी.
यहां उनकी पत्नी, आईएएस अधिकारी अमनीत पी. कुमार, कैबिनेट मंत्री कृष्ण लाल पंवार, श्याम सिंह राणा, एसीएस गृह सुमिता मिश्रा, मुख्य सचिव अनुराग रस्तोगी, नव नियुक्त डीजीपी ओपी सिंह सहित कई गणमान्य व्यक्ति मौजूद रहे.
इससे पहले, सुबह पूरन कुमार के आत्महत्या के नौवें दिन चंडीगढ़ के पीजीआई में उनका पोस्टमॉर्टम किया गया. मजिस्ट्रेट की उपस्थिति में पूरी प्रक्रिया की वीडियोग्राफी भी की गई, जिसमें लगभग चार घंटे का समय लगा. उसके बाद दोपहर में एम्बुलेंस से उनके पार्थिव शरीर को सेक्टर-24 स्थित आवास पर लेकर जाया गया.
Police ने बताया कि अतिरिक्त Police महानिदेशक पूरन कुमार ने अपनी सर्विस पिस्तौल से खुद को गोली मार ली और उनकी मौके पर ही मौत हो गई. अधिकारी ने नौ पन्नों का एक ‘अंतिम नोट’ छोड़ा है जिसमें 15 वर्तमान और पूर्व अधिकारियों के नाम हैं, जिससे राज्य Police के शीर्ष अधिकारी जातिवाद और पक्षपात के आरोपों के घेरे में आ गए हैं.
इस घटना के बाद Haryana Government ने तत्काल कदम उठाए. डीजीपी शत्रुजीत कपूर को छुट्टी पर भेज दिया गया और उनकी जगह ओपी सिंह को कार्यवाहक डीजीपी बनाया गया. रोहतक एसपी बिजरनिया को हटा दिया गया.
कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने 14 अक्टूबर को परिवार से मुलाकात कर सीएम नायब सिंह सैनी से तत्काल कार्रवाई की मांग की. उन्होंने कहा, “यह एक दलित परिवार की इज्जत का सवाल नहीं, बल्कि पूरे दलित समुदाय का सवाल है. सिस्टम में व्यवस्थित भेदभाव हो रहा है.”
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एकेएस/एबीएम
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