डूंगरपुर: भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो (ACB) डूंगरपुर ने मंगलवार को बड़ी कार्रवाई करते हुए पुलिस थाना चौरासी में तैनात सहायक उप निरीक्षक जीवणलाल को 5000 रुपये की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों गिरफ्तार किया। आरोपी पुलिस अधिकारी को ACB टीम ने योजनाबद्ध तरीके से ट्रैप करते हुए पकड़ा और रिश्वत की राशि बरामद की।
भाई और भतीजे को छुड़ाने की एवज में मांगी थी रिश्वत
प्राप्त जानकारी के अनुसार, परिवादी ने शिकायत दर्ज करवाई थी कि उसके भाई और भतीजे को सहायक उप निरीक्षक जीवणलाल की ओर से थाना चौरासी (झौंथरी) में बंद कर दिया गया था। पूछताछ करने पर आरोपी ने बताया कि चार महीने पूर्व हुए एक झगड़े के मामले में इन्हें हिरासत में लिया गया है।
जब परिवादी ने अपने भाई को छोड़ने की बात कही, तो अधिकारी ने दूसरे पक्ष के व्यक्ति को थाने लाने की शर्त रखी। व्यक्ति को लाने पर भाई को छोड़ दिया गया, लेकिन भतीजे और दूसरे युवक को छोड़ने के लिए 10000 रुपये की रिश्वत मांगी गई।
ACB ने पहले की पुष्टि, फिर बनाया ट्रैप का प्लान ACB द्वारा शिकायत की जांच के बाद 26 जुलाई को सत्यापन प्रक्रिया कराई गई, जिसमें आरोपी ने 3,000 रुपये पहले ही ले लिए थे और शेष 7,000 रुपये लेने की सहमति जताई थी। इसके बाद आज 29 जुलाई को पुलिस निरीक्षक राजेन्द्र सिंह और उनकी टीम ने उप महानिरीक्षक प्रह्लाद सिंह कृष्णिया के निर्देशन में ट्रैप की योजना बनाई।
गांव कनबा का रहने वाला है आरोपी
गांव कनबा, थाना बिछीवाड़ा निवासी आरोपी जीवणलाल वर्तमान में पुलिस थाना चौरासी में सहायक उप निरीक्षक के पद पर कार्यरत था। आरोपी को रिश्वत की तय राशि 5,000 रुपये लेते ही रंगे हाथों गिरफ्तार किया गया। ACB ने रिश्वत की रकम मौके पर ही बरामद कर ली है। फिलहाल आरोपी से पूछताछ जारी है और आगे की कार्रवाई नियमानुसार की जा रही है।
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भाई और भतीजे को छुड़ाने की एवज में मांगी थी रिश्वत
प्राप्त जानकारी के अनुसार, परिवादी ने शिकायत दर्ज करवाई थी कि उसके भाई और भतीजे को सहायक उप निरीक्षक जीवणलाल की ओर से थाना चौरासी (झौंथरी) में बंद कर दिया गया था। पूछताछ करने पर आरोपी ने बताया कि चार महीने पूर्व हुए एक झगड़े के मामले में इन्हें हिरासत में लिया गया है।
जब परिवादी ने अपने भाई को छोड़ने की बात कही, तो अधिकारी ने दूसरे पक्ष के व्यक्ति को थाने लाने की शर्त रखी। व्यक्ति को लाने पर भाई को छोड़ दिया गया, लेकिन भतीजे और दूसरे युवक को छोड़ने के लिए 10000 रुपये की रिश्वत मांगी गई।
ACB ने पहले की पुष्टि, फिर बनाया ट्रैप का प्लान ACB द्वारा शिकायत की जांच के बाद 26 जुलाई को सत्यापन प्रक्रिया कराई गई, जिसमें आरोपी ने 3,000 रुपये पहले ही ले लिए थे और शेष 7,000 रुपये लेने की सहमति जताई थी। इसके बाद आज 29 जुलाई को पुलिस निरीक्षक राजेन्द्र सिंह और उनकी टीम ने उप महानिरीक्षक प्रह्लाद सिंह कृष्णिया के निर्देशन में ट्रैप की योजना बनाई।
गांव कनबा का रहने वाला है आरोपी
गांव कनबा, थाना बिछीवाड़ा निवासी आरोपी जीवणलाल वर्तमान में पुलिस थाना चौरासी में सहायक उप निरीक्षक के पद पर कार्यरत था। आरोपी को रिश्वत की तय राशि 5,000 रुपये लेते ही रंगे हाथों गिरफ्तार किया गया। ACB ने रिश्वत की रकम मौके पर ही बरामद कर ली है। फिलहाल आरोपी से पूछताछ जारी है और आगे की कार्रवाई नियमानुसार की जा रही है।
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